Shayari Sangrah
Lambi Umar Je Leti Hai
औरत के लिए कोई व्रत नहीं करता फिर भी लम्बी उम्र जी लेती है !
करती है राधा की तरह प्रेम मीरा की तरह विस पि लेती है !!
Shayari Sangrah 5
सो गयी ये भी पर मेरी आँखों में नींद कहा !
क्यों की प्यार वो दर्द है जो रोने से पहले सोने नहीं देता !!