जब जब तुझे मेरी तलाश होगी
तब तब तेरी आँखे हताश होगी
इश्क के गुल,थोडे इंतजार में नहीं खिलते
मंजिल पर खडे लोग,मझधार में नहीं मिलते
रूह तक में बस जाए खुशबू जिनकी
अब वो फूल बाजार में नहीं मिलते
लो चल दिए हम ज़िन्दगी से शायद खत्म हो सके तेरी शिकायते हम ही नहीं थे काबिल जो निभाते मोहब्बते
कैसे करे हम खुद को तेरे प्यार के काबिल
जब हम आदते बदलते है तो तुम शर्ते बदल देते हो !!