Poetry Tadka

Jaan Shayari

Adae Rooth Jane Ki

मेरी सब कोशिशें नाकाम थी
उनको मनानें की...
कहाँ सीखी है #जालिम ने
अदाएं रूठ जाने की..!!

Chahe Meri Jaan Mang Lo

प्यार से चाहे सारे अरमान माँग लो
रूठकर चाहे मेरी मुस्कान माँग लो,
तमन्ना ये है कि ना देना कभी धोखा,
फिर हँसकर चाहे मेरी जान माँग लो.

Tumhe Chahne Me

ख़ुदा जाने कौन सी कसर रह गई थी तुम्हे चाहने में.!
तुम जान ही नहीं पाई की मेरी जान हो तुम

Khud Hi Mar Jaaunga

खुद ही मर जाऊँगा मैं वक्त आने पे,
ऐ इश्क तू क्यूँ मेरी जान का दुश्मन बना हुआ है

Intezar Nahi Karte

इशक के दरद ही कुछ ऐसे हैं…
लोग जान दे देते हैं मगर इंतजार नहीं करते