जुबां कह नही पाई मगर आंखें बोलती ही रही,
कि जीने के लिए साँसों से ज्यादा मुझे तेरी जरूरत है
तुम बिन साँस तो आती है
मगर ज़िंदगी महसूस नहीं होती!
तुझे जींदगी भर याद रखने की कसम तो नहीं ली,
पर एक पल के लिए तुझे भुलाना भी मुश्किल है.
ना करवटे थी, ना बैचेनियाँ थी..
क्या गज़ब की नीन्द थी मोहब्बत से पहले